हेलो नमस्कार दोस्तों, आज हम बात करने वाले हैं, इम्पोर्ट शिपमेंट कैसे बुक करें, देखिये मान लो कोई इम्पोर्टर है, अब वो आपसे बोलता है की सर मुझे चाइना से कार्गो इम्पोर्ट करना है, आप मुझे चाइना की फैक्ट्री से उठाके इंडिया की फैक्ट्री तक पहुंचाके दें। तो सबसे पहले हमारा क्या काम होगा, हमारा काम होगा की हम इम्पोर्टर कुछ डिटेल्स लें, ताकि हमे रेट्स लेने मैं आसानी होगी, तो देखिये आपको डिटेल क्या लेनी है, डिटेल में आपको पूंछना हैं की जहाँ से कार्गो मंगवाना है, उस कंपनी का एड्रेस, फिर पूंछना है की कोनसे पोर्ट से लोडिंग करवानी है, कोनसे पोर्ट पे मंगवाना है, प्रोडक्ट क्या है, कितना वेट है, HSN कोड क्या है, कितने पैकेज है, ये सब ये सब पता करने के बाद आपको अपने एजेंट से कांटेक्ट करना है, और उसको ये सब डिटेल देनी है, अब आप बोलेंगे की कोनसे एजेंट से ,
तो में आपको क्लियर करदूं जो एजेंट आपका चाइना में है उससे कांटेक्ट करना है, अब वो क्या करेंगे की वहां का ट्रांसपोरशन, कस्टम क्लीयरेंस, लोकल चार्जेस, एंड ओसियन फ्रेट पता करके आपको रेट्स देदेंगे अपना कमीशन ऐड करके, अब आपको क्या करना है, आपको भी इसमें कमीशन ऐड करके इम्पोर्टर को रेट्स देदेने हैं, रेट्स देने के बाद उसको रेट्स अच्छा लगता है तो वो आपको शिपमेंट उठाने के लिए बोलदेंगे, फिर आपको क्या करना है अपने एजेंट को प्रोसीड करदेना है काम करने के लिए, फिर आपका एजेंट क्या करेगा , आपका एजेंट करेगा की वहां पे जिस भी शिपिंग लाइन से रेट्स लिए होगा, वो उस शिपिंग लाइन पे कंटेनर बुक करदेंगे, फिर वो बुकिंग वहां के सप्लायर को देंगे जिससे इम्पोर्टर ने माल मंगवाया है, जिसका डिटेल इम्पोर्टर ने दिया था फिर जो एजेंट है कंटेनर को पिक करके फैक्ट्री भेजेगा वहां पे कार्गो स्टफ्फिंग होगा फिर वो कार्गो पोर्ट पे आएगा यहाँ पे कार्गो क्लीयरेंस होगा, इसी बीच वहां की जो कस्टम की डाक्यूमेंट्स की प्रक्रिया है वो होगी, फिर जो आपका एजेंट है आपको hbl ड्राफ्ट भेजेगा सप्लायर को, और आपको HBL एंड MBL ड्राफ्ट भेजेगा, जिसमे से जो HBL ड्राफ्ट है वो आपको इम्पोर्टर को भेजना है चेक करने के लिए और जो सप्लायर को ड्राफ्ट भेजा हुआ है एजेंट ने वो भी इम्पोर्टर को भेजेगा चेक करने के लिए, कहने के मतलब ये है की आप और सप्लायर जो ड्राफ्ट भेजेंगे इम्पोर्टर को वो एक जैसा ही होगा, लेकिन आपने शिपमेंट बुक करवाई हे तो आपकी जिम्मेदारी है आप अपनी तरफ से उसे चेक करवाए ,
अगर कुछ करेक्शन है तो उसे ठीक करवाए एजेंट से बोलके ,, और आपको अपनी तरफ से MBL ड्राफ्ट चेक करना है जिसमे CONSIGNEE coloumn में नाम आपका होगा, और आप ही शिपिंग लाइन के लिए इम्पोर्टर होंगे, आपको कनसिंगी डिटेल चेक करलेना है, और बाकि डिटेल डिस्क्रिप्शन वगेरा सब HBL से मिला लेना है, और एजेंट को दोनों ड्राफ्ट के अप्रूवल देदेना है, और एजेंट को बोल्डेन है की मुझे प्रीअलेर्ट भेजदें , अब जैसे ही सीपोर्ट से कंटेनर जहाज पे लोड होगा लोड होने के बाद एजेंट आपको प्रीअलेर्ट भेजदेगा , प्रीअलेर्ट में आपको फाइनल HBL कॉपी, MBL कॉपी एंड एजेंट की इनवॉइस आएगी, एजेंट की इनवॉइस आपको अपने पास तक रखनी है और उसे पेमेंट करदेनी है, ताकि वो आपको HBL MBL की रिलीज़ कॉपी आपको भेज सके, अब देखो जो HBL और MBL कॉपी आपको प्रीअलेर्ट में मिले थे उसके BEHALF पे आपको IGM फाइल करवाना है, IGM फाइल करवाने के लिए आपके पास दो ऑप्शन होते है, पहले ऑप्शन की बात करले जॉब MBL और HBL कॉपी आपको मिली है वो कॉपी आपको IGM फाइल करने वाले को भेजनी है जो IGM फाइल करते हैं, ये आपको LOCALY मिल जायेंगे , ये आपको चेकलिस्ट बनाके देंगे और वो चेकलिस्ट आपको चेक करनी है, दोनों ड्राफ्ट से, अगर वो ठीक हे तो आपको ओके करदेनी है,
अगर इस तरीके से IGM फाइल करते हैं, तो इसे हम सेल्फ igm फाइलिंग बोलते हैं, अब बात करते हैं दूसरे ऑप्शन की जिसमे हम HBL और MBL कॉपी शिपिंग लाइन के एजेंट को देते हैं जो इंडिया में है अब ये कॉपी मेल पे भी दे सकते हैं, और ODEX पे दे सकते है, अब ये चीज़ आपको शिपिंग लाइन से पता जरूर करलेनी हे की किस फॉर्मेट में डिटेल देनी है और क्या डाक्यूमेंट्स देने है, उसके बाद ही आपको डॉक्यूमेंट सबमिट करें igm फाइलिंग के लिए, अब जैसे ही शिपमेंट यहाँ पे आएगी मतलब इंडिया के सीपोर्ट पे आएगी तो शिपिंग लाइन से आपको एक ARRIVAL नोटिस आएगा, अर्रिवाल नोटिस आने के बाद आपको शिपिंग लाइन से इनवॉइस लेनी है और रिक्वायर्ड डाक्यूमेंट्स के फॉर्मेट मांगने है और फॉर्मलिटीज पूछनी है, और वो सब डाक्यूमेंट्स बनाके आपको शिपिंग लाइन के सबमिट करने है,
और उसकी पेमेंट करनी है, फिर वहां से आपको डिलीवरी आर्डर मिल जायेगा , अब यहाँ पे एक बात ध्यान रखना यहाँ जो आपको डिलीवरी आर्डर मिलेगा वो आपके नाम से मिलेगा, अब आप क्या करेंगे, आपको एक डिलीवरी आर्डर बनाना है अपनी कंपनी का जिसे आप इम्पोर्टर के नाम से बनाएंगे ताकि वो डिलीवरी ले सके , लेकिन यहाँ आपको एक बात याद रखनी है, इम्पोर्टर को डिलीवरी आर्डर देने से पहले आपको सारा पेमेंट लेलेना है, डिलीवरी आर्डर देने के बाद कंटेनर फैक्ट्री में खली होने जायेगा खली होने के बाद वो कंटेनर को शिपिंग लाइन को वापस करदेगा, और ये शिपमेंट का किस्सा ख़तम हो जायेगा,
धन्यवाद्
0 Comments